चोरी चौकीदार करेगा और बाबा व्यापार करेगा, झूठ बोलकर देश खरीदा और देश बेच व्यापार करेगा…!
ईशान देव साहित्यिक क्लब ने 5 दिसंबर 2021 को आगरा पब्लिक स्कूल, विजय नगर कॉलोनी में आयोजित किया अखिल भारतीय कवि सम्मेलन।
महर्षि अरविंद घोष की पुण्यतिथि को समर्पित अखिल भारतीय कवि सम्मेलन में आगरा की हस्तियां रहीं मौज़ूद।
देश के प्रमुख कवियों ने काव्य पाठ के माध्यम से समाज, राजनीति और मानवीय भावनाओं से जुड़े मुद्दों को किया मुखर।
ब्रज पत्रिका, आगरा। ईशान देव साहित्यिक क्लब द्वारा रविवार को सायं आगरा पब्लिक स्कूल के ऑडिटोरियम में महर्षि अरविंद घोष जी की पुण्यतिथि को समर्पित अखिल भारतीय कवि सम्मेलन का सफल आयोजन हुआ।
कार्यक्रम का शुभारंभ माँ सरस्वती एवं महर्षि अरविंद घोष के चित्र पर माल्यार्पण और दीप प्रज्वलित करके मुख्य अतिथि और राज्यमंत्री विधि एवं न्याय, भारत सरकार एसपी सिंह बघेल, विशिष्ट अतिथि उत्तरप्रदेश के लघु उद्योग राज्यमंत्री चौधरी उदय भान सिंह, उत्तर प्रदेश संगीत नाटक अकादमी के सदस्य रंजीत सामा, केंद्रीय हिंदी संस्थान के कुलसचिव डॉ. चंद्रकांत त्रिपाठी, समाजवादी पार्टी के पूर्व जिला अध्यक्ष रामसहाय यादव एवम् पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष आगरा गणेश यादव ने किया।
मैनपुरी से आये गीतकार सतीश मधुप ने संचालन का दायित्व संभालते हुए श्रोताओं को स्वयं तालियां बजाने पर मजबूर कर दिया, पूरे देश से आये कवियों ने अपने-अपने अंदाज़ में काव्य पाठ करके श्रोताओं को मंत्र मुग्ध कर दिया।
किशोरवय कवि ईशान देव ने कहा-
“मानवों में मानवीय संवेदना कहां है…!”
लाफ्टर शो फेम स्टैंड अप कॉमेडियन प्रताप फौजदार ने सुनाया-
“चोरी चौकीदार करेगा और बाबा व्यापार करेगा, झूठ बोलकर देश खरीदा और देश बेच व्यापार करेगा…।”
कवि शिव सागर शर्मा ने सुनाया-
“आलिंगन को व्याकुल है चारों मीनारे ताज की
दो आंखें शाहजहां की हैं दो आंखें हैं मुमताज़ की…।”
महाराज सिंह ने सुनाया-
“कोई कितना यत्न करे पर जल की धार नही कटती है।
माटी का तो धर्म एक है माटी कभी नही बटती है…।”
कवि राजीव राज़ ने सुनाया-
“बूंद हूं और समंदर से जंग जारी है
मौत की थपकियों से जिंदगी कब हारी है…।”
गीतकार सतीप मधुप ने सुनाया-
“हमको बहुत सुख देता था पल्लू मां की साड़ी का…।”
कवियत्री योगिता चौहान ने सुनाया-
“मैं तुम्हारे हृदय में उतर जाऊँगी,
अंक लगकर तुम्हारे सिहर जाऊँगी।
बांध लो मुझको अपने प्रणय पाश में
तुम न बांधोगे तो मैं बिखर जाऊँगी।।”
कवियत्री सपना सोनी ने सुनाया-
“मेरे मन की धरा पर मधुर भाव से, चित्र अपना सलोना बना दीजिये,
जितनी ग़ज़लें कही हैं मेरे वास्ते उनके कुछ शेर तो गुनगुना दीजिये…।”
कवि रोहित चौधरी ने सुनाया-
“बच्चों को भी दूध दिया तो गायब रही मलाई है…।”
किशोरवय कवि योगी सूर्यनाथ ने सुनाया-
“विश्वगुरु भारत बनाने वाली बातें छोड़ो
पहले ये बताओ कि प्रयास कितने हुए।।”
भूपी फ्रॉम यूपी ने सुनाया-
“मेरी असफलता पर रोने वाले लोगों,
मुझको बताओ इश्क में कौन कामयाब हुआ है…।”
कार्यक्रम में विशेष रूप से प्रमुख हस्तियां शामिल रहीं
राजनीतिज्ञ नितिन कोहली, तुलसीराम यादव एवम् पिंटू यादव, फ़िल्म लेखक-निर्देशक सूरज तिवारी, डॉ. ईशान यादव, ब्रजेश यादव, साहुकार यादव, डॉ. डीवी सिंह, डॉ. अरुणोदय बाजपेई, डॉ. अखंड प्रताप सिंह, डॉ. भूपेंद्र चिकारा, डॉ. विक्रम सिंह, राजू यादव, अलका सेन, डॉ. बीना शर्मा, डॉ. महेश धाकड़, विनोद यादव, रिंकी यादव, लक्ष्मी शर्मा, पिंकी यादव आदि कार्यक्रम में मौजूद रहे।
मुख्य अतिथि एवं विशिष्ट अतिथियों का स्वागत डॉ. विनोद यादव एवं सूरज तिवारी ने किया। देशभर से आये कवियों का भी स्वागत शॉल ओढ़ा कर, प्रतीक चिन्ह देकर एवं माला पहनाकर किया गया। कार्यक्रम का संयोजन सूरज तिवारी, ईशान देव एवं डॉ. विनोद यादव ने किया। कार्यक्रम के अंत में डॉ. विनोद यादव ने धन्यवाद ज्ञापन किया।