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इंडिपेंडेंस डे पर ज़ी बॉलीवुड दिखाने जा रहा है 101% शुद्ध देश प्रेम से भरी फिल्में

ब्रज पत्रिका। इंडिपेंडेंस डे कैलेंडर में दर्ज सिर्फ एक और दिन नहीं, बल्कि सारे देश के लिए गर्व का मौका होता है। जहां भारत स्वतंत्रता का एक और साल मनाने जा रहा है, वहीं ज़ी बॉलीवुड इस दिन के उपलक्ष्य में भी 101% शुद्ध देश प्रेम से भरी फिल्में दिखाएगा।

अपने दिन भर के मूवी फेस्टिवल ‘हिंदुस्तान ज़िंदाबाद’ के साथ यह 101% शुद्ध बॉलीवुड चैनल अब तुम्हारे हवाले वतन साथियों, लगान, कर्मा और गदर जैसी सुपरहिट फिल्मों संग देशभक्ति के जज्बे का जश्न मनाएगा। यह मूवी फेस्टिवल यकीनन हम सभी के दिलों में देशभक्ति का जज़्बा जगा देगा! इस 15 अगस्त पर आप भी प्रेरणादायक फिल्मों संग अपने अंदर छिपे देशभक्त को बाहर ले आइए। ‘अब तुम्हारे हवाले वतन साथियों’ के साथ इस फेस्टिवल की शुरुआत होगी।

15 अगस्त को सुबह 9 बजे फिल्म ‘अब तुम्हारे हवाले वतन साथियों’

101% शुद्ध देशभक्ति से सराबोर और अमिताभ बच्चन, अक्षय कुमार और बॉबी देओल के अभिनय वाली यह फिल्म एक ऐसे युवक की कहानी है, जो ना चाहते हुए भी भारतीय सेना में शामिल होता है ताकि उसके परिवार की परंपरा बरकरार रह सके। लेकिन जब उसे सीमा पर तैनात किया जाता है, तो उसमें एक बड़ा बदलाव आता है। जब सीमा पार के आतंकवादी देश की शांति भंग करने का प्रयास करते हैं, तो वो देश के लिए मर मिटने को भी तैयार रहता है।

इसी दिन दोपहर 12:30 बजे देखिए आमिर खान की फिल्म ‘लगान’

आशुतोष गोवारीकर के निर्देशन में बनी ऑस्कर में नामांकित यह मशहूर फिल्म एक युवा किसान भुवन के विद्रोह की कहानी है, जिसमें उसे एक ब्रिटिश अधिकारी चुनौती देता है कि या तो वो क्रिकेट के खेल में उनकी टीम को हराए या फिर अपनी जमीन का दोगुना लगान भरे।

इसी तरह शाम 5 बजे देखिए 101% शुद्ध एक्शन फिल्म ‘कर्मा’

इसमें दिलीप कुमार, अनिल कपूर, जैकी श्रॉफ और नसीरुद्दीन शाह जैसे सितारे हैं। यह सुपरहिट फिल्म दादा ठाकुर नाम के एक जेलर की कहानी है, जो डॉ. डैंग से अपने परिवार के सदस्यों और अपने जेल के कैदियों की मौत का बदला लेना चाहते हैं, और इसके लिए वे तीन कैदियों – जॉनी, बैजू और खैरू की मदद लेते हैं।

फेस्टिवल के अंत में दिखाई जाएगी फ़िल्म ‘ग़दर : एक प्रेम कथा’

यह फिल्म देश के विभाजन के दौर की कहानी है, जिसमें एक सिख ड्राइवर तारा और एक मुस्लिम लड़की सकीना शादी के बंधन में बंध जाते हैं और खुशी-खुशी साथ रहने लगते हैं। लेकिन उनकी खुशियां ज्यादा समय तक नहीं रहती क्योंकि सकीना के पिता अपनी बेटी को उसके परिवार से अलग करने के लिए उसे जबर्दस्ती पाकिस्तान ले जाते हैं। लेकिन तारा सीमा पार करके अपने प्यार को वापस लाने का फैसला करता है।

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